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बलिया-उत्तर प्रदेश के बलिया जनपद में लगभग चार दशक से दीमक की तरह लगकर बलिया की माध्यमिक शिक्षा और इसके धन को चट करके पूरी व्यवस्था को खोखला करने वाले सफेदपोशों द्वारा 1 अरब से अधिक रुपये जीपीएफ़ से चट कर जाने ख़बर प्रकाशित करने के बाद भी प्रदेश की सरकार ने खबर का संज्ञान ले लिया है । इस संबंध में सरकार के आदेश के बाद शासन भी सक्रिय हो गया है ।
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इस संबंध अतुल कुमार मिश्र अनु सचिव उत्तर प्रदेश शासन ने 27 दिसम्बर 2019 को शिक्षा निदेशक (माध्यमिक) उत्तर प्रदेश लखनऊ को एक आदेश भेजकर “अभय नारायण सिंह बनाम यूपी सरकार व अन्य” में माननीय उच्च न्यायालय प्रयागराज के आदेश के बाद पिछले वर्ष 27 दिसम्बर को भेजे गये पत्र को संज्ञानित करने को कहा गया है , जिसमे शासन से अनुमन्य जनशक्ति के अतिरिक्त 27 शिक्षकों -शिक्षणेत्तर कर्मियों के द्वारा आहरित वेतन की रिकवरी करने को कहा गया था । अनु सचिव ने आगे कहा कि मुझे यह कहने का आदेश हुआ है कि एक साल बीत जाने के बाद भी आज तक इस संबंध में क्या कार्यवाही हुई इसकी रिपोर्ट शासन को प्राप्त नही हुई है । इस कारण से आपको आदेशित किया जाता है कि अगले सात दिनों के अंदर अनियमित रूप से वेतन आहरित करने वाले उपरोक्त आदेश में वर्णित 27 शिक्षकों/शिक्षणेत्तर कर्मियों से रिकवरी की कृत कार्यवाही से शासन को अवगत कराएं । इस आदेश के जारी होने की सूचना से बलिया जनपद में हड़कम्प मच गया है । अब देखना है कि क्या पिछले साल की तरह ही यह पत्र भी फाइलों में दबा ही रह जायेगा या इसपर कार्यवाही होती है ।औऱ इसमें शामिल दोषियों के खिलाफ़ कब तक होगी कार्यवाही ये बड़ा सवाल हैं।