प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आजाद हिंद सरकार की 75वीं वर्षगांठ पर लाल किले पर राष्ट्रध्वज फहराया। पारंपरिक रूप से देश के प्रधानमंत्री 15 अगस्त को ही ऐतिहासिक लाल किले पर राष्ट्रध्वज फहराते हैं। यह पहला मौका था जब प्रधानमंत्री ने 15 अगस्त के अलावा किसी अन्य मौके पर लाल किले पर तिरंगा फहराया। उन्होंने कहा कि देश में एक परिवार को बड़ा बनाने के लिए नेताजी के योगदान को भुलाया गया। सरकार इसे बदलने की कोशिश कर रही है। इस मौके पर पीएम ने कहा, ‘आज मैं उन माता पिता को नमन करता हूं जिन्होंने नेता जी सुभाष चंद्र बोस जैसा सपूत देश को दिया। मैं नतमस्तक हूं उस सैनिकों और परिवारों के आगे जिन्होंने स्वतंत्रता की लड़ाई में खुद को न्योछावर कर दिया।’ इससे पहले प्रधानमंत्री ने एक अन्य कार्यक्रम में राष्ट्रीय पुलिस स्मारक देश को समर्पित किया। यहां पुलिस के योगदान को सराहते हुए वे भावुक हो गए। उनकी आंखों से आंसू छलक पड़े।
Addressing a programme marking 75 years of the establishment of the Azad Hind Government. https://t.co/B2gmDL8dWt
— Narendra Modi (@narendramodi) 21 October 2018
आजाद हिंद सरकार की स्थापना सुभाष चंद्र बोस के विचारों से प्रेरित होकर 21 अक्टूबर, 1943 को सिंगापुर में की गई थी। पीएम मोदी ने कहा, ‘आजाद हिन्द सरकार सिर्फ नाम नहीं था, बल्कि नेताजी के नेतृत्व में इस सरकार द्वारा हर क्षेत्र से जुड़ी योजनाएं बनाई गई थीं। इस सरकार का अपना बैंक था, अपनी मुद्रा थी, अपना डाक टिकट था, अपना गुप्तचर तंत्र था।’ इसी लाल किले पर विक्ट्री परेड का सपना नेताजी सुभाष चंद्र बोस ने 75 साल पहले देखा था। आजाद हिंद सरकार के प्रधानमंत्री के तौर पर शपथ लेते हुए उन्होंने सपना देखा था कि इसी लाल किले से भारत का तिरंगा फहराया जाएगा। आजाद हिंद सरकार अविभाजित भारत की सरकार थी। मैं सभी को आजाद हिंद सरकार के 75 वर्ष पूरे होने पर बधाई देता हूं।