हरिद्वार बस अड्डे को सराय में स्थानांतरित करने को लेकर हो रहे, चौतरफा विरोध के बाद अब नगर निगम के मेयर मनोज गर्ग बैकफुट पर नजर आ रहे हैं । उन्होंने पहली बार चुप्पी तोड़ते हुए साफ किया कि, फिलहाल बस स्टैंड शिफ्ट करने का कोई प्रस्ताव ही निगम में पास नहीं हुआ है, केवल कांग्रेस जनता को भ्रमित करने का काम कर रही है। वहीं मेयर के बयान के विपरीत विकास प्राधिकरण बस अड्डे को स्थानांतरित करने की तैयारी पूरी कर चुका है। आपको बता दें कि व्यस्तम बाजार में स्थित बस स्टैंड हरिद्वार को सराय में शिफ्ट करने की घोषणा न केवल शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक बल्कि मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत भी कर चुके हैं । जिसके बाद पूरे हरिद्वार में व्यापारी और कांग्रेसियों ने आम जनता के साथ इसका विरोध शुरू कर दिया था, लेकिन आगामी निगम चुनाव को देखते हुए मेयर ने अपने सुर बदल लिए हैं । अब उनका कहना है कि इस तरह का कोई प्रस्ताव निगम में पास ही नहीं हुआ है, और जब तक ऐसा प्रस्ताव पास नहीं होता तब तक बस अड्डा शिफ्ट नहीं किया जा सकता। वहीं दूसरी ओर मेयर के बयानों के विपरीत हरिद्वार विकास प्राधिकरण बस स्टैंड का खाका तैयार करने में जुटा हुआ है, सचिव प्राधिकरण का कहना है कि, बस स्टैंड शिफ्ट करने के संबंध में बोर्ड में प्रस्ताव पारित हो चुका है । इस संबंध में ट्रांसपोर्ट नगर में स्थित निगम की जमीन को चिन्हित कर लिया गया है, पुराने बस स्टैंड की जगह मल्टी स्टोरी पार्किंग बनाई जाएगी, नया बस स्टैंड बनाने के लिए प्राधिकरण सक्ष्म है। तो वहीं बस स्टैंड का विरोध कर रहे कांग्रेसी नेता और व्यापारियों का कहना है कि, बस स्टैंड शिफ्ट करने की राजनीति मेयर स्तर से नहीं बल्कि शहरी विकास मंत्री के स्तर से की जा रही है । मेयर तो सिर्फ़ रबड़ स्टांप हैं, कांग्रेसी नेताओं का कहना है कि बिना बोर्ड में पास किए निगम सरकारी जमीनों को नीलाम करने में लगा हुआ है, इस मामले से ध्यान हटाने के लिए ही इस तरह की बयानबाजी कर रहे हैं। हरिद्वार में अगले एक-दो माह में नगर निगम के चुनाव होने वाले हैं ऐसे में जनता अगर भाजपा के खिलाफ बस अड्डे के मुद्दे को लेकर खड़ी होती है। तो निश्चित तौर पर इसका नुकसान भाजपा को चुनाव में होगा, इसी को देखते हुए शायद हरिद्वार के मेयर के सुर बदलते नजर आ रहे हैं देखना यह होगा कि वह जनता को अपने नए बयान को लेकर कैसे समझा पाते हैं।