जापान ने विवादित दक्षिण चीन सागर में 13 सितंबर को पन्नडुब्बी अभ्यास किया यह दावा जापान के एक अखबार ने किया। अब ऐसा माना जा रहा है कि जापान के इस कदम से चीन की त्योरियां तन सकती हैं, क्योंकि वह विवादित जलक्षेत्र के ज्यादातर हिस्से पर अपना दावा करता रहा है।
‘असाही शिंबुन’ अखबार की माने तो ‘सबमरीन कुरोशियो’ चीन के नियंत्रण वाले स्कारबॉरो शोल के दक्षिण-पश्चिम में जलक्षेत्र में जापान के तीन जंगी जहाजों के साथ शामिल हुई। ब्रूनेई, मलयेशिया, फिलीपीन, ताईवान और वियतनाम के अपने-अपने दावों के बावजूद चीन संसाधन संपन्न दक्षिण चीन सागर के ज्यादातर हिस्से पर अपना दावा करता है। अखबार के मुताबिक पनडुब्बी का अभ्यास दक्षिण चीन सागर में तोक्यो की तरफ से की गयी पहली ऐसी कवायद थी।
आपको बता दे दक्षिण चीन सागर से हर साल करीब 5 खरब अमेरिकी डॉलर का कारोबार होता है। दक्षिण चीन सागर में चीन एक कृत्रिम टापू बना रहा है जहां वो अपना एक मिलिट्री बेस बनान चाहता है। वहीं जापान के रक्षा मंत्रालय की तरफ से एक बयान जारी किया गया जिसमें उन्होंने कहा कि 80 चालकों के साथ कुरोशियो पनडुब्बी सोमवार से केम रान्ह खाड़ी के समीप वियतनाम के सामरिक नौसेना ठिकाने पर पांच दिनों तक रहेगा।