संत निरंकारी मिशन की आध्यात्मिक प्रमुख रहीं माता सविंदर हरदेव का रविवार 5 अगस्त शाम 5:00 बजे निधन हो गया। माता सविंदर हरदेव लंबे समय से बीमार थी। बीमार की वजह से उन्होंने छोटी बेटी सुदीक्षा को संत निरंकारी मिशन के प्रमुख के पद पर आसीन किया था।
बता दे, कि निरंकारी बाबा हरदेव सिंह महाराज की मृत्यु के बाद से ही माता सविंदर हरदेव मिशन की प्रमुख रही है। मिशन के प्रवक्ता कृपा सागर ने जानकारी दी है, कि माता सविंदर हरदेव के पार्थिव शरीर को अंतिम दर्शन के लिए निरंकारी ग्राउंड संख्या आठ में रखा गया है और अंतिम संस्कार दिल्ली के निगम बोध घाट पर बुधवार दोपहर किया जाएगा।
कौन थे बाबा हरदेव सिंह निरंकारी
संत निरंकारी मिशन के प्रमुख हरदेव सिंह का जन्म 23 फरवरी, 1954 को हुआ था। उन्होंने 1971 में एक सदस्य के रूप में निरंकारी सेवा दल ज्वॉईन किया था। 1975 में निरंकारी संत समागम के दौरान उनकी शादी सविंदर कौर से हुई। अपने पिता की मौत के बाद 1980 में वे संत निरंकारी मिशन के मुखिया बने। संत निरंकारी मिशन में उन्हें सतगुरू की उपाधि दी गई।
1929 में शुरू हुआ था निरंकारी मिशन
संत निरंकारी मिशन की 1929 में स्थापना हुई थी। इस मिशन की 100 शाखाएं 27 देशों में चल रही है। भारत में भी लाखों की संख्या में उनके अनुयायी है। बाबा हरदेव सिंह को विश्व में मानवता की शांति के लिए कई राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय पुरस्कार मिल चुके है। निरंकारी मंडल की ओर से बुराड़ी स्थित मैदान में हर साल नवंबर में वार्षिक समागम का आयोजन किया जाता है। इसमें भारत समेत दुनिया भर के लाखों भक्त भाग लेते है।