गोरखपुर से लखनऊ जाने वाली इंटरसिटी एक्सप्रेस से बीते दिन 13 लडकियों को बरामद किया गया है। ट्रेन मे चल रही पुलिस टीम ने शक के आधार पर सभी लडकियों को बस्ती आरपीएफ के हवाले कर दिया। जिसके बाद खुफिया एजेंसियां भी सक्रिय हो गई हैं कि आखिर इन बच्चियों को क्यों दूसरे प्रांत में ले जाया जा रहा था।
वहीं, पुलिस को पूछताछ में पता चला है कि बरामद सभी लडकियों को लुधियाना के एक आश्रम में सत्संग सिखाने के लिये लालच देकर ले जाया जा रहा था। लडकियों को साथ लेकर जा रहे दो युवकों को भी पुलिस ने हिरासत में ले लिया है। जिन्होंने बताया कि लुधियाना के निस्काम सेवा संस्थान नाम के एक आश्रम मे इन बच्चियों को बाबा स्वामी निष्काम द्वारा सत्संग सिखाया जाता है, मगर सिर्फ एक ही गांव की छोटी छोटी बच्चियों को ही क्यों लेकर जाया जा रहा था। ये बडा सवाल है, बरामद लडकियों में 9 नाबालिग हैं, जिनकी उम्र पांच से दस साल के बीच है, जबकि बाकी 18 वर्ष तक की हैं।
आरपीएफ इंस्पेक्टर ने बताया कि ये सभी लड़कियां महाराजगंज जिले के खजुरी गांव की रहने वाली है और इन सभी के माता पिता को बहला फुसला कर उन्हें टिकट की भी सुविधा देकर लुधियाना ले जाया जा रहा था, एक साथ 13 लडकियों को बिना उनके अभिभावक को ले जाने का शक जब ट्रेन में चल रहे सुरक्षा कर्मियों को हुआ तो वे तुरंत एक्सन लेते हुये बस्ती रेलवे स्टेशन पर उन्हें उतार कर पुलिस के हवाले कर दिया, पूछताछ में यह भी पता चला है कि बरामद लडकियों में से अधिकतर को पहले भी एक बार लुधियाना ले जाया गया था, और उसके बाद एक बार फिर से गांव के दूसरी छोटी-छोटी बच्चियों को भी लुधियाना सत्संग सिखाने के लिये ले जाया जा रहा था, मगर यहां सवाल यह उठता है कि आखिर पांच साल की बच्ची को सत्संग सिखाने की क्या जरुरत है और उन्हें ले जाया भी जा रहा था तो उनके माता पिता को क्यों नहीं ले जाया गया, पुलिस मानव तस्करी की दृष्टिकोण से भी तहकीकात कर रही है और पूरी पड़ताल के आवश्यक कार्यवाही करेगी। फिल्हाल बरामद लड़कियों को चाईल्ड लाईन की टीम को सौंप दिया गया है,जो सभी बच्चियों को मजिस्ट्रेट के सामने प्रस्तुत करने के बाद महाराजगंज जिले के उनके गांव में ले कर जायेगी और उनके अभिभावक से पूछताछ करने के बाद शासन को रिपोर्ट भेजी जायेगी ।
[हिन्द न्यूज टीवी के लिए बस्ती से श्रीवास्तव]