गुरुग्राम में हरेरा ने पारस स्वक्वायर प्रोजेक्ट को लेकर उसके निर्माता ब्लैकवेरी रियलकॉम के खिलाफ 10 लाख का जुर्माना लगाया है, बिल्डर कंपनी को हरेरा प्राधिकरण ने अधिनियम, 2016 की धारा 3 (1) का उल्लंघन करने का दोषी पाया है, साथ ही भविष्य में इस तरह की गलती न करने की भी हरेरा ने चेतावनी दी है । इस मामले की सुनवाई करते हुए प्राधिकरण ने पाया कि ब्लैकबेरी रीयलकान प्राइवेट लिमिटेड ने 2017 में ड्रीम होम लेने वालों के लिए गुरुग्राम में ‘पारस स्क्वायर’ नामक नई परियोजना लॉन्च की थी, लेकिन कंपनी ने 31 जुलाई 2017 से पहले पंजीकरण के लिए आवेदन नहीं किया, इन्होने आरईआरए अधिनियम के प्रावधानों का पालन नहीं किया, इसलिए हरेरा की तीन सदस्यीय पीठ ने नियमों का उल्लंघन पर भारी जुर्माना लगाया है।
आपको बता दें प्राधिकरण ने पाया कि प्रमोटर ने एक महीने की देरी के बाद आवेदन किया था, इसलिए अदालत ने सुनवाई के बाद आरईआरए अधिनियम की धारा 3 का उल्लंघन मानते हुए कंपनी पर 10 लाख रुपये का जुर्माना लगाया, और कंपनी को भविष्य में इस तरह की गलती न करने की चेतावनी भी दी । हरेरा का मुख्य उद्देश्य सभी बिल्डरों को एक छत के नीचे लाना है, ताकि खरीददारों और बिल्डरों को किसी भी प्रकार की समस्याओं का सामना न करना पड़े।
हरेरा के चेयरमैन केके खंडेलवाल ने बताया कि इससे पहले भी नियमों की अवहेलना करने पर हरेरा की अदालत ने इंडो जापान प्रोजेक्ट को भी दोषी पाया था, अदालत ने प्रोजेक्ट कंपनी पर 30 लाख रुपये का जुर्माना ठोका था, वहीं दूसरी तरफ प्राधिकरण में एमार एमजीएफ का भी केस चल रहा है, बताया जाता है कि निर्धारित अवधि में एमआर एमजीएफ ने भी अपना जवाब दाखिल नहीं किया है ।
हिन्द न्यूज टीवी के लिए गुरुग्राम से अभिषेक